नवाचार के गढ़ रहे नए प्रतिमान
India Today Hindi|July 03, 2024
नवीनतम डिजाइन स्टूडियो और आला दर्जे की प्रयोगशालाओं में सैद्धांतिक ज्ञान को जमीन पर उतारा जा रहा. संकल्प है टिकाऊपन. आइआइटी रुड़की के डिपार्टमेंट ऑफ आर्किटेक्चर ऐंड प्लानिंग की भविष्य के लिए तैयारी बेहद सावधानी भरी
रिद्धि काले
नवाचार के गढ़ रहे नए प्रतिमान

इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी या आइआइटी रुड़की के 365 एकड़ के परिसर में स्थित डिपार्टमेंट ऑफ आर्किटेक्चर ऐंड प्लानिंग (वास्तुकला और योजना विभाग) अपने तहत आने वाली कई तरह की विधाओं में पेशेवर और ऊंची गुणवत्ता वाली तालीम मुहैया करता है. इस विभाग की शुरुआत 1956 में हुई थी. वास्तुकला प्रोग्राम अपने कठोर पाठ्यक्रम के लिए जाना जाता है. इसमें सैद्धांतिक ज्ञान, कौशल विकास और व्यावहारिक जानकारी का मिश्रण शामिल है. पाठ्यक्रम भारत की नई शिक्षा नीति के अनुरूप है। और एक छात्र के समग्र करियर विकास को पक्का करता है.. विभाग अपने पाठ्यक्रम में उन्नत तकनीकों का समावेश करने में भी सबसे आगे है. यह आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, मशीन लर्निंग, बिल्डिंग साइंस और डेटा एनालिटिक्स पर ध्यान केंद्रित करते हुए अत्याधुनिक विशेषज्ञता प्रदान करता है.

क्लाइमेटोलॉजी लैब, अत्याधुनिक उपकरणों और सॉफ्टवेयर से सुसज्जित कंप्यूटरीकृत डिजाइन स्टूडियो, एक आर्ट लैब और एक कार्यशाला जैसी सुविधाओं वाले इस विभाग की अच्छी-खासी मांग है. इंडो-यूके कार्यक्रम के तहत स्थापित नेट जीरो उत्सर्जन पर एक प्रतिष्ठित प्रयोगशाला इस विभाग में हाल ही शामिल की गई है. पर इतना ही नहीं, विभाग के पास छह अन्य प्रयोगशालाएं भी हैं-एक वर्चुअल रियलिटी लैब, स्पर्श (स्पैशियल प्लानिंग रिसर्च), एक शहरी गतिशीलता प्रयोगशाला (अर्बन डायनेमिक्स लैब), एक औद्योगिक डिजाइन प्रयोगशाला, समावेशी डिजाइन की एक प्रयोगशाला (एलआइडी), और वास्तुकला और योजना के विभिन्न स्पेक्ट्रम में उच्च-स्तरीय अनुसंधान करने के लिए एक बुनियादी ढांचा नियोजन प्रयोगशाला (इन्फ्रास्ट्रक्चर प्लानिंग लैब).

यह दूसरों से अलग कैसे है?

इस संस्थान में एक समर्पित प्लेसमेंट सेल है जो छात्रों को भारत और विदेशों में शीर्ष फर्मों से नौकरी के प्रस्ताव हासिल करने में सहायता करता है. यहां के छात्रों को की जाने वाली औसत वार्षिक वेतन (घरेलू) की पेशकश

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