पीजी लाइफ कभी प्यार कभी तकरार
Grihshobha - Hindi|July Second 2024
अगर आप भी पीजी या होस्टल में रहने जा रही हैं, तो उस से पहले यह जानना आप के लिए बेहद जरूरी है...
मिनी सिंह
पीजी लाइफ कभी प्यार कभी तकरार

आज की लड़कियां न सिर्फ घर संभाल रही हैं बल्कि बाहर निकल कर अपने सपनों को भी आकार दे रही हैं. वे अपने कैरियर की खातिर छोटेछोटे शहरों से निकल कर अपने घर से दूर दिल्ली, मुंबई जैसे बड़े शहरों में आ कर गर्ल्स पीजी या होस्टल में रहती हैं. सिर्फ पढ़ने वाली लड़कियां ही नहीं बल्कि वर्किंग वूमन भी पीजी में रहती हैं.

पीजी में रहने के फायदे

अधिकांश बड़े शहरों में यातायात की भीड़ एक बड़ी समस्या है और यही कारण है कि लोग अपने ऑफिस और कालेज के करीब पीजी में रहना पसंद करते हैं. महंगे होते घरों के किराए में रहने से पीजी एक अच्छा विकल्प है क्योंकि यह किफायती तो है ही साथ में आप का समय भी बचाता है क्योंकि बाहर से आ कर पढ़ने वाले छात्र या कामकाजी पेशेवर अपने ऑफिस और स्कूलकालेज के करीब पीजी ले कर रह सकते हैं.

पीजी या पेइंगगैस्ट सिस्टम आज बड़ेबड़े शहरों में कौमन बात हो चुकी है, जहां 1 कमरे में 2 से 4 लड़कियां एकसाथ रहती हैं. यहां आप को समय पर चायनाश्ता और खाना तो मिल ही जाता है, आप के कपड़े भी लौंड्री हो जाते हैं. यहां गीजर, एसी, कूलर और इंटरनैट की भी सुविधा होती है. गर्ल्स पीजी हर तरह से बाहर से आ कर रहने वाली लड़कियों के लिए अच्छा विकल्प है, मगर गर्ल्स पीजी में कुछ ऐसी भी चीजें होती हैं जिन्हें वहां रहने वाली लड़कियां ही महसूस कर पाती हैं.

गर्ल्स पीजी में और भी बहुत कुछ क्या होता है, आइए जानते हैं.

लड़ाईझगड़े, मनमुटाव

This story is from the July Second 2024 edition of Grihshobha - Hindi.

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