CATEGORIES
Categories
कम नहीं जीते हैं हार कर भी
शानदार रणनीतिक कौशल वाली ऑस्ट्रेलिया और संभवतः पिच के गलत चुनाव के चलते भले हार गई हो पर 2023 की भारतीय टीम दूसरों से कहीं बेहतर थी
माले में बदल रहा माहौल
मालदीव को भारत से मिलने वाली सहायता और समर्थन दोनों देशों के बीच घनिष्ठ रिश्तों का परिचायक रहा है. लेकिन नवनिर्वाचित चीन समर्थक राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू के 'इंडिया आउट' अभियान और भारतीय कर्मियों की वापसी की मांग ने नई दिल्ली को चिंतित कर दिया है
रबर स्टाम्प या केंद्र के एजेंट?
विपक्ष शासित राज्यों में फिर राज्यपालों और निर्वाचित सरकारों की टकराहट से न्यायपालिका दखल देने को मजबूर, एक सवैधानिक अस्पष्टता विधानसभाओं से पारित विधेयकों को लंबे समय तक लटकाए रखने में मददगार
अपने ही बाढ़ में घिरे सियासी दिग्गज
राजस्थान के कद्दावर नेता जीत के लिए कर रहे हैं जीतोड़ जुगत
'हमने प्लेटफॉर्मों को डीपफेक के लिए चेतावनी दी है'
समूचे देश में डीपफेक का खतरा बढ़ने पर केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स, सूचना प्रौद्योगिकी, कौशल विकास और उद्यमिता राज्यमंत्री राजीव चंद्रशेखर से ग्रुप एडिटोरियल डायरेक्टर राज चेंगप्पा ने मोदी सरकार की चिंताओं, उठाए गए कदमों और संबंधित कानूनों में संशोधनों के बारे में बातचीत की.
डीपफेक का डरावना सच
बॉलीवुड के सितारों से लेकर राजनैतिक नेताओं तक कोई महफूज नहीं डीपफेक के ख़तरनाक चंगुल से, गलत हाथों मे पड़ जाएं तो भारी उथल-पुथल की भी आशंका बदस्तूर, भला हम खुद को कैसे सुरक्षित रखें
नाम बदलने का क्या मतलब?
कई झुग्गी बस्तियों को सरकारी मान्यता हासिल नहीं है क्योंकि वहां रहने वाले कानूनी तौर पर पंजीकृत नहीं हैं
आरबीआई की चेतावनी
बैंकों पर इसका अलग-अलग असर हो सकता है लेकिन कर्ज लेने के इच्छुक लोगों के लिए खुदरा लोन के महंगा होने के आसार हैं
अध्यात्म की ओर वापसी
गायक सोनू निगम अपने हालिया रिलीज गानों से आध्यात्मिक संगीत की दुनिया में लौटे हैं, जो उनके दिल के बेहद करीब भी है
बॉलीवुड की धमाकेदार वापसी!
कोविड के बाद लंबे समय तक पसरे रहे सन्नाटे के बाद हिंदी फिल्में धमाके के साथ दस्तक दे रही हैं. उनके लिए 2023 अब तक का सबसे बढ़िया साल साबित हो रहा है
दुखों का प्याला
भारत में चाय के कुल उत्पादन में पश्चिम बंगाल के चाय उद्योग की 26 फीसद हिस्सेदारी है. लेकिन इसे अब कम कीमतों और गिरते निर्यात जैसी चुनौतियों से जूझना पड़ रहा है. अंदरखाने इस बात पर बहस जोर पकड़ने लगी है कि क्या से इसे फिर से पटरी पर लाया जा सकता है
आफत को आमंत्रण देती सड़कें
इस साल उत्तराखंड में हुए अभूतपूर्व भूस्खलनों से 12,000 करोड़ रुपए की चार धाम परियोजना पर भारी सवालिया निशान लगे. क्या भारत पहाड़ों पर होने वाले असर को कम से कम करते हुए बुनियादी ढांचे को महफूज रख सकता है?
कोरियन कल्चर का दौर
कोरियाई संस्कृति ने युवा भारतीयों को अपनी गिरफ्त में लिया. अब उनके खान-पान से लेकर मनोरंजन की पसंद तक हर जगह कोरिया की झलक साफ-साफ दिखने लगी है.
अकेले हैं तो क्या गम है
दूसरे चरण के मतदान से पहले मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने अपने भरोसेमंद सहयोगियों के साथ कांग्रेस की चुनावी रणनीति बनाई
रणनीतिक बदलाव
कांग्रेस और भाजपा ने आखिरी दौर में रणनीति बदली मगर असली मुकाबला अब भी गहलोत की गारंटियों और भाजपा के चेहरे मोदी के बीच
क्या केसीआर लगा सकते हैं हैट्रिक?
लगातार तीसरी बार गद्दी की तलाश में तेलंगाना की राजनीति के दिग्गज का मुकाबला सत्ता विरोधी रुझान और नए जोशोखरोश के साथ उठ खड़ी हुई कांग्रेस से
शेरों का नया घर
गुजरात में एक और वन्यजीव सफारी पार्क की घोषणा के साथ वन्यजीवन पर्यटन को बढ़ावा मिल रहा है. नया सफारी पार्क ग वन्यजीव अभयारण्य से करीब 50 किलोमीटर दक्षिणपूर्व में गिर सोमनाथ जिले के उना तालुका के तटीय गांव नलिया-मांडवी में होगा. उना केंद्र शासित प्रदेश दीव के करीब लोकप्रिय पर्यटन क्षेत्र है. कुल 674 से ज्यादा की आबादी में से कुछ शेरों के परिवारों ने उना के वन क्षेत्रों और अर्ध-वन क्षेत्रों को अपना घर बनाया है. इस इलाके में ज्यादा सैलानियों को आकर्षित करने की खातिर राज्य सरकार का ताजा फैसला उसके उस विजन के अनुरूप है जिसमें वह शेरों की बढ़ती आबादी से थोड़ा-बहुत आर्थिक लाभ हासिल करने में गांव वालों की मदद करना चाहती है. यह सब इंसान और जानवरों के बीच बढ़ते टकरावों के बीच हो रहा है क्योंकि सौराष्ट्र प्रायद्वीप में मानव आबादी में बढ़ोतरी, औद्योगीकरण और शहरीकरणकी रफ्तार ने शेरों की तादाद में बढ़ोतरी को पीछे छोड़ दिया है.
राज्य बनाम राज्यपाल
दरअसल, केरल में वाम मोर्चा सरकार और राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान के बीच लड़ाई ने तब और तूल पकड़ लिया जब सरकार ने राज्यपाल के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में दो याचिकाएं दाखिल कीं. पिनाराई विजयन की अगुआई वाली सरकार चाहती है कि कोर्ट राज्यपाल के लिए उनके कार्यालय में लंबित आठ विधेयकों पर फैसला लेने की \"उचित समय सीमा\" तय करे. इनमें पांच विधेयक विश्वविद्यालय प्रशासन से जुड़े हैं और दो साल से ज्यादा वक्त से खान की मंजूरी का इंतजार कर रहे हैं. अन्य तीन विधेयक एक साल से ज्यादा वक्त से उनके दफ्तर में पड़े हैं.
मोर्चे पर बरकरार
मोइत्रा के प्रति टीएमसी के समर्थन ने इन अटकलों पर विराम लगा दिया है कि अगले लोकसभा चुनाव में उन्हें टिकट नहीं दिया जाएगा
नई कहन का जादू
अभिनेता जयदीप अहलावत पाताल लोक के निर्देशक अविनाश अरुण के साथ दोबारा थ्री ऑफ अस के लिए की गई जुगलबंदी पर
भुगतान संकट से जूझते छोटे उद्यम
एमएसएमई क्षेत्र भारत के जीडीपी में 30 फीसद का योगदान देता है लेकिन यह बड़े उद्यमों की तरफ से भुगतान में देरी का अभिशाप झेल रहा है जिससे पूंजी उगाहने और विस्तार की राह बाधित हो रही है
क्या खाएं अच्छा
देश में खान-पान की गैर-सेहतमंद आदतों के बारे में जागरूकता बढ़ी, तो क्या खाना अच्छा और क्या नहीं की अंतिम सूची आपके हवाले
बड़ी घोषणाओं से छिपी असल बदहाली
बिहार विधानसभा में हाल ही में पेश जाति आधारित आर्थिक सर्वेक्षण की रिपोर्ट ने जाति के साथ-साथ बिहार की आर्थिक बदहाली की तस्वीर भी सामने रखी है. हालांकि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की बड़ी-बड़ी घोषणाओं से इस हकीकत से जुड़े बेहद अहम सवाल दब गए हैं
कुर्मी वोटों के लिए मची खींचतान
अपना दल (सोनेलाल) और अपना दल (कमेरावादी) के बीच तेज हुआ आरोप-प्रत्यारोप. लोकसभा चुनाव से पहले कुर्मी मतदाताओं के साथ नेताओं को भी खींचने में लगी पार्टियां
डिप्टी सीएम की उलझनें
अजीत पवार महाराष्ट्र में भाजपा गठबंधन सरकार में आने के बाद अभी तक पैर नहीं जमा पाए. एनसीपी के उनके धड़े को अहम विभाग मिल तो गए लेकिन डिप्टी सीएम की हैसियत अभी नंबर 3 की ही है
सियासत के धैर्यवान बाबा
धैर्य के साथ मुख्यमंत्री की कुर्सी का इंतजार कर रहे पूर्व राजघराने के वंशज की किस्मत ने पिछले पांच साल में बड़े उतार-चढ़ाव देखे हैं
मैदान में अजहर
उन्होंने 2009 में कांग्रेस की टिकट पर उत्तर प्रदेश की मुरादाबाद सीट से जीत हासिल की तो पूरा तामझाम, रुतबा और स्टाइल...
ओएमजी!
यह केवल भारत में ही संभव हो सकता है, जहां चुनावी मैदान पूरी तरह भगवान के रंग में रंगा नजर आता है.
दीया के लिए दीये
जयपुर के विद्याधर नगर निर्वाचन क्षेत्र से दीया कुमारी का चुनाव मैदान में उतरना उसी तरह है जैसे मछली के लिए जल में होना.
तो सूरमा भोपाली कौन है?
डकैतों के कब्जे वाला लंबा-चौड़ा बीहड़, सलीम खान के रूप में इंदौर का एक पटकथा लेखक, जबलपुर की बीड़ी फैक्ट्री में नौकरी पाने वाला किशोर और फिर सूरमा भोपाली को कौन भूल सकता है......